रूड़की के कोटवाल आलमपुर गांव के पास एक मशरूम प्लांट की छत गिरने से छह महिला श्रमिक मलबे में दब गईं। आसपास खड़े लोग घायलों को स्थानीय अस्पताल ले गए, जहां डॉक्टरों ने दो महिलाओं को मृत घोषित कर दिया। दो की हालत गंभीर होने के कारण उन्हें हायर सेंटर रेफर किया गया है। दो महिलाओं का इलाज झबरेड़ा में ही चल रहा है. पुलिस मौके पर पहुंची और मामले की जांच शुरू कर दी.

झबरेड़ा थाना क्षेत्र के कोटवाल गांव के पास मशरूम प्लांट लगा है. इस प्लांट में आमतौर पर 25 से 30 महिलाएं काम करती हैं. सोमवार शाम छह महिलाएं प्लांट के स्टोर में मशरूम रख रही थीं। अचानक छत ढह गई। छत गिरते ही पूरे प्लांट में हड़कंप मच गया। मौके पर पहुंची अन्य महिलाओं की चीख-पुकार सुनकर आसपास के लोग एकत्र हो गए।

उन्होंने मलबे में दबी महिलाओं को निकालने का ऑपरेशन शुरू किया. घटना की सूचना मिलते ही झबरेड़ा पुलिस मौके पर पहुंच गई। पुलिस ने लोगों की मदद से मलबा हटाने का काम शुरू किया।

उधर, प्लांट में काम करने वाली महिला के परिजनों को जब हादसे की जानकारी हुई तो वे भी प्लांट पर पहुंच गए। पुलिस ने मलबा हटाकर घायल छह महिलाओं को बाहर निकाला और झबरेड़ा के अस्पताल में भर्ती कराया। जहां डॉक्टर ने सढोली निवासी अमृता (27) और कोटवाल आलमपुर निवासी सुदेश (38) को मृत घोषित कर दिया।सतेंद्री और ज्योति निवासी सढोली का झबरेड़ा में ही इलाज चल रहा है। घटना की जानकारी मिलने पर ज्वाइंट मजिस्ट्रेट अभिनव शाह और झबरेड़ा विधायक वीरेंद्र जाती भी मौके पर पहुंचे. उन्होंने मृतकों और घायलों के परिजनों से मुलाकात की. थाना अध्यक्ष धर्मेंद्र राठी ने बताया कि घायलों को अस्पताल भेजा जा रहा है।

परिजनों ने शव को प्लांट पर रखकर प्रदर्शन किया
प्लांट की छत गिरने की सूचना मिलते ही प्लांट का मालिक मौके से फरार हो गया। उधर, मृत महिला के परिजन शव को झबरेड़ा से प्लांट ले गए। उन्होंने शव को प्लांट के पास रखकर प्रदर्शन शुरू कर दिया। उनका आरोप है कि घायलों का इलाज करने के बजाय प्लांट मालिक मौके से भाग गया। उन्होंने मृतकों के परिजनों और घायलों को मुआवजा देने की मांग की.मौके पर पहुंचे ज्वाइंट मजिस्ट्रेट अभिनव शाह, तहसील दार और झबरेड़ा विधायक वीरेंद्र जाती देर रात तक परिवार को समझाते रहे। थानाध्यक्ष धर्मेंद्र राठी ने बताया कि प्लांट मालिक से संपर्क करने का प्रयास किया जा रहा है।

हल्द्वानी में आपदा प्रभावित क्षेत्रों का स्थलीय निरीक्षण कर कैबिनेट मंत्री रेखा आर्या ने अधिकारियों को आवश्यक दिशा-निर्देश दिये।