देहरादून : राज्य के औद्योगिक विकास एवं सैनिक कल्याण मंत्री गणेश जोशी द्वारा अपने कैम्प कार्यालय में वाणिज्य और उद्योग पीएचडी चैंबर के उत्तराखंड राज्य चैप्टर, की ’‘ईज ऑफ बिजनेस डूईंग’’ की “प्राथमिक रिपोर्ट अनावृत की।


पीएचडी चैंबर के उत्तराखंड राज्य चेप्टर के चेयरमैन वीरेंद्र कालरा ने मंत्री को अवगत कराया कि चैंबर के अनुसंधान विभाग द्वारा ईज ऑफ डूइंग बिजनेस पर एक विस्तृत सर्वेक्षण किया जा रहा है। उत्तराखंड की ‘‘व्यापार सुगमता रैंकिंग’’ में 2015 के 23वें स्थान से 2019 में 11वें स्थान तक सुधार आने से उद्योग जगत उत्साहित है।


कैबिनेट मंत्री ने कहा कि सरकार के प्रयासों तथा व्यापार व उद्योग जगत के सहयोग से उत्तराखंड की व्यापार सुगमता रैंकिंग में सुधार आया है। हमारी सरकार लगातार प्रयास कर रही है कि राज्य में स्वच्छ औद्योगिक वातावरण, बेहतर कानून व्यवस्था स्थापित कर राज्य को निवेश के लिए एक आदर्श गंतव्य बनाएं क्योंकि राज्य में औद्योगिक निवेश की शानदार संभावनाएं उपस्थित हैं। पीएचडीसीसीआई के क्षेत्रीय निदेशक अनिल तनेजा ने काबीना मंत्री को बताया कि प्रारंभिक सर्वेक्षण से पता चलता है कि 63 प्रतिशत उत्तरदाताओं ने वास्तव में सिंगल विंडो सिस्टम का उपयोग किया है। इनमें से 20 प्रतिशत ऐसे हैं जिन्होंने नये व्यावसाय हेतु राज्य को उत्कृष्ट स्थान दिया है।


कैबिनेट मंत्री जी ने बताया कि उद्योग जगत की सुगमता के लिए विभिन्न प्रयास किए जा रहे हैं। पटेल नगर इंडस्ट्रीयल एस्टेट सहित पांच औद्योगिक सम्पदाओं में मानचित्रों को पारित करने के लिए सीडा को नियुक्त करने की अधिसूचना जारी की जा चुकी है। उद्योग द्वारा मानचित्रों के स्व-सत्यापन का भी प्रावधान किया जा रहा है। औद्योगिक विकास नीति 2017 के लाभों की समय सीमा को विस्तारित करने के प्रयास किए जा रहे हैं। हरिद्वार में इनलेंड कंटेनर डिपो स्थिपित करने के प्रयास किए जा रहे हैं। सितारगंज प्लास्टिक पार्क के लिए 40 एकड़ का भूमि बैंक निर्धारित किया गया है।
उन्होंने उद्योग प्रतिनिधियों को आश्वस्त किया कि पीएचडीसीसीआई और उनके सहयोगी सदस्य उद्योग संघों द्वारा उठाए गए विषयों को फास्ट ट्रैक बेस पर संबोधित किया जाएगा।