देहरादून : उत्तराखंड में एक तरफ खराब मौसम पर्यटकों की राह में बाधा बन रहा है तो दूसरी ओर है 72 घंटे के भीतर की कोरोना जांच की निगेटिव रिपोर्ट। जिसके चलते उत्तराखंड आने वाले पर्यटकों को काफी परेशानियों का सामना करना पड़ रहा है। वहीं कोरोना जांच के नाम पर बार्डर पर हो रही चैकिंग के दौरान यातायात व्यवस्था भी काफी गडबड़ा रही है। जिससे लोगों को काफी परेशानी हो रही है। जिसको देखते हुए प्रदेश सरकार ने अब बड़ा फैसला लिया है। जिस फैसले पर अमल करने के सीएम पुष्कर सिंह धामी ने आदेश भी जारी कर दिए हैं।

RT-PCR निगेटिव रिपोर्ट की अब नहीं है जरूरत
अब तक उत्तराखंड में प्रवेश करने के लिए 72 घंटे के भीतर की आरटीपीसीआर निगेटिव रिपोर्ट लाना जरूरी था। जिसके बिना प्रदेश में प्रवेश वर्जित कर दिया जा रहा था। जिससे जरूरी काम से आ रहे लोगों को काफी दिक्कतों का सामना करना पड़ रहा था। लेकिन लोगों की समस्याओं को देखते हुए अब प्रदेश के मुखिया धामी ने बड़ा फैसला लिया है। सीएम ने निगेटिव रिपोर्ट की अनिवार्यता को खत्म कर दिया है। मुख्यमंत्री धामी ने साफ तौर पर कहा कि उत्तराखंड में कोरोना संक्रमण पर काबू पाया जा चुका है। शुक्रवार को धामी ने कहा कि संक्रमण की दर राज्य में काफी गिर चुकी है। कई ज़िले तो ऐसे हैं, जहां कोई पॉज़िटिव केस सामने नहीं आ रहा है। धामी के मुताबिक इन हालात में राज्य सरकार ने व्यवस्था की है कि अब उत्तराखंड में प्रवेश के लिए निगेटिव रिपोर्ट या फिर 15 दिन पहले के वैक्सीन के दोनों डोज़ के प्रमाण पत्र की ​अनिवार्यता को खत्म किया जाए। सीएम धामी ने इस बाध्यता को खत्म करने का ऐलान करते हुए इसे अव्यावहारिक बताया

नई गाइडलाइन में की जाएगी व्यवस्था
सीएम पुष्कर सिंह धामी ने कहा कि बार्डर पर हो रही चेंकिग के चलते बॉर्डर और चेक पॉइंटों पर ट्रैफिक रुक या फंस जाता है। जिससे लोगों को भारी परेशानी होती है। धामी ने बताया कि आला अफसरों को इन नियमों को खत्म करने के लिए कहा जा चुका है और जल्द ही कोविड कर्फ्यू की नई गाइडलान में यह व्यवस्था की जा रही है।