पौड़ी , PAHAAD NEWS TEAM

अब जिला प्रशासन ने जंगल में पार्टी पिकनिक व सैर सपाटा करने वालों पर पैनी नजर रखने के निर्देश दिए हैं. डीएम ने कहा कि इन सभी गतिविधियों में शामिल लोग भी जंगल में आग की घटनाओं को अंदाम दे सकते हैं. इसलिए डीएम ने वन विभाग से ऐसे लोगों पर भी नजर रखने को कहा है. साथ ही डीएम ने ऐसे लोगों की सूचना आपदा नियंत्रण कक्ष और पुलिस को देने की भी अपील की है.

पौड़ी जिले के 8 वन संभागों में आग की घटनाएं थमने का नाम नहीं ले रही हैं. लाख कोशिशों के बाद भी वन विभाग के लिए जंगल की आग को रोकना नामुमकिन सा लगता है. पौड़ी के 8 संभागों में अब तक जंगल में आग की 400 घटनाएं दर्ज की जा चुकी हैं. इनमें 700 हेक्टेयर से ज्यादा जंगल जल चुके हैं। विभाग की ओर से करीब 20 लाख के नुकसान का आकलन किया गया है. वहीं डीएम ने सभी ग्राम प्रधानों और सरपंचों से वनों की आग की रोकथाम के लिए सामूहिक रूप से आगे आने का आह्वान किया है.

जंगल में लगातार हो रही आग की घटनाओं को देखते हुए डीएम डॉ. विजय कुमार जोगदंडे ने जिले के सभी ग्राम प्रधानों और सरपंचों से जंगल में आग की घटनाओं को रोकने के लिए प्रभावी कदम उठाने की अपील की है. डीएम ने कहा कि जंगल में लगी आग से घास का अच्छा उत्पादन अपवाद है. लोगों को इसे बदलना होगा। जिलाधिकारी ने वन विभाग समेत सभी संबंधित विभागों को इस अपवाद पर वैज्ञानिक जानकारी देने का निर्देश दिया.

इसके साथ ही डीएम ने जिला प्रशासन को निर्देश दिया है कि जंगलों में सैर-सपाटे और पार्टी करने जाने वालों पर नकेल कसें. उन्होंने ऐसा करने वालों से आपदा नियंत्रण कक्ष संख्या 221840 और पुलिस सहायता संख्या 112 पर शिकायत करने को कहा है. गौरतलब है कि उत्तराखंड को हर साल जंगल की आग से भारी नुकसान होता है. इस बार भी उत्तराखंड के जंगल आग से जल रहे हैं।